-
10-09-2020, 10:08 PM
#371

दो झील, एक चाँद, खिले फूल, तितलियाँ
क्या-क्या छुपा रखा था तुम्हारे नकाब ने
-
10-09-2020, 10:17 PM
#372

मैं कोशिश तो बहुत करता हूँ उसको जान लूँ लेकिन
वो मिलने पर बड़ी कारीगरी से बात करता है
-
29-09-2020, 07:26 AM
#373
कब तलक रहियेगा दूर की चाहत बनकर..
दिल में आ जाईये ना इकरार -ए- मोहब्बत बनकर.
Last edited by bndu jain; 29-09-2020 at 07:35 AM.
-
19-03-2023, 04:55 PM
#374
तूफ़ान आने पे वो कश्ती ना डूबेगी तो क्या होगा
तूफान आने से पहले दरकिनार जिसने किया माझी
अंधेरो से लड़ाई मोल लूँ तो किस भरोसे पे
महफ़िल में एक शमा थी वो भी तो ले गया साकी
कहाँ से रौशनी लाऊं दिया कैसे रखूं जलता
न अब तो तेल बचा न ही बाती बची बाकी
जमाने भर के शिकवे या गिले क्यों मुझ से करता है
कभी तो अपने दिल में झांक कर भी देखा कर साथी
दुआ दे या दवा दे फर्क कुछ पड़ने नहीं वाला
रिश्ता तो मर चुका कब से सिर्फ दफनाना है बाकी
-
24-03-2023, 11:22 AM
#375
सुडोल बदन नयन नख्श तीखे चहरे पे गज़ब का नूर
ऐसा लगता है धरती पे उतरआयी जन्नत की हूर
-
27-03-2023, 04:39 PM
#376
काश तू कोई दुःख सुख अपना कभी तो मुझ से बांटे
और हटा पौऊ मै तेरी राह से दुःख के कांटे
Posting Permissions
- You may not post new threads
- You may not post replies
- You may not post attachments
- You may not edit your posts
-
Forum Rules